यह सच्ची भूतिया घटना उत्तर प्रदेश के शहर मुजफ्फरनगर में घटी एक डरावनी घटना है।
ऎसी घटना, जो आपकी रूह तक को झकझोर कर रख देगी।
एक ऎसी डायन की कहानी जो अपनी जवानी और उम्र को 100 साल तक कायम रखने के लिए मासूम और निर्दोष बच्चों को अपना शिकार बना रही है।
इंसानों की बलि देने से इनकी शैतानी शक्तियाँ इन्हें बहुत ताकतवर बना देतीं हैं। माना जाता है कि ये डायनें एक बार किसी भी घर में दाखिल हो जाएं तो इन्हें घर से निकालना नामुमकिन हो जाता है।
एक कार रात को सुनसान सड़क से होती हुई गुजर रही थी।
कार में अर्शद, अपनी बीबी और अपनी तीन बच्चियों के साथ सफर कर रहा था।
कार जैसे ही सुजडू चुंगी को पार करती है। तो अरशद को सामने सड़क के बीचो बीच से एक औरत गुजरती हुई दिखी।
अरशद, उस औरत को देख कर हॉर्न बजाने लगा लेकिन हॉर्न से उस औरत को कोई फर्क नहीं पड़ा।
अरशद को कार ब्रेक लगाकर रोकनी पड़ी। ब्रेक के झटके से कार में सो रही अरशद की बीबी, और बच्चियां जाग गईं।
अरशद, गुस्से से कार के बाहर निकलता है और उस औरत से कहता है।
ओ मैडम मरने के लिए मेरी ही कार मिली है क्या। मरना है तो और कहीं जाकर मरिए।
अरशद की बातों का उस औरत पर कोई असर नहीं हुआ। वह सड़क के बीच में अभी भी खड़ी थीं।
अरशद उस औरत के पास जाता है तो उसे महसूस हुआ कि वह औरत लंबी – लंबी साँसे भर रही थी।
वह औरत असामान्य और डरवानी थी।
जैसे ही अरशद उस औरत के नजदीक जाता है तो अचानक से वह औरत उसकी गर्दन पकड़ लेती है और उसको मारने लगती है।
वह औरत कोई और नहीं बल्कि एक डायन थी।
अरशद की बीबी और बच्चियां कार के अंदर लॉक हो जाती है। जिससे वो अरशद को बचा न सकें।
और वह डायन अरशद को मार देती है। इसके बाद वह डायन कार पर हमला करती है।
हादसे के कुछ ही देर में वहां से उस्मान नाम का शख़्स उसी रास्ते से गुजर रहा था।
तभी उसकी नजर सड़क पर खड़ी लावारिस कार पर गई। जिसके इंडिकेटर जल रहे थे।
उस्मान को कार को देखकर कुछ अजीब सा लगा वह कार की ओर बढ़ा।
तभी वह किसी चीज़ से टकरा कर नीचे गिर गया।
जब उसने अपने मोबाइल की टार्च से पास में पड़ी उस चीज़ को देखा जिससे वह अभी टकराया था।
उस चीज़ को देख कर उस्मान की चीख निकल पड़ी। क्योंकि वह चीज़ अरशद की लहूलुहान पड़ी लाश थी।
उस्मान खड़े होकर कार की ओर बढ़ता है। उस्मान देखता है कि कार पूरी तरह से खून से सनी हुई थी।
उस्मान कार की विंडो से अंदर देखता है तो उसे तीनों बच्चियों और एक औरत की लाशें दिखतीं हैं जो बेहद डराने वाली थीं।
तभी उस्मान पुलिस को फ़ोन करने लगता है।
उसी वक़्त उस्मान को किसी महिला के कराहने की आवाज सुनाई दी। उस्मान फोन को कट करके कार के आगे जाता है तो उसे वहां एक लड़की लहूलुहान हालत में दिखती है।
उस्मान उसके पास जाकर उससे पूछता है कि यहाँ क्या हुआ था और आपको चोट कैसे आई?
तो वह लड़की कहती है कि मेरा नाम समीरा है, मुझे बहुत दर्द हो रहा है और मुझे कुछ याद भी नहीं आ रहा।
इसके बाद उस्मान उसे बिना कुछ पूछे हॉस्पिटल ले गया।
हॉस्पिटल में नर्स उस्मान को उस समीरा के बारे में पूछती और उस लड़की के इलाज के लिए पैसों का इंतज़ाम करने को कहती है।
इस पर उस्मान कहता है कि इनका कोई नहीं है। हाइवे एक्सिडेंट में इनका सारा परिवार खत्म हो गया है। आप इनका इलाज शुरू करिए मैं पैसों का इंतज़ाम करता हूँ।
वॉर्डबॉय समीरा को इलाज के लिए ले जा रहा था। तभी समीरा उसे रूम नंबर 13 के सामने उसे रुकने को बोलती है।
जब वॉर्डबॉय कहता है कि वह रूम खाली नहीं है वहाँ पहले से ही एक मरीज है। जो सो रही है।
तभी समीरा उस लड़की को बीमार कर देती है। वॉर्डबॉय जब डॉक्टर को बुलाने गया। तब तक समीरा उस लड़की के पास पहुंच जाती है और शैतान से कहती है कि हे! शैतान मेरी चौथी बलि को स्वीकार कर और उस बच्ची का गला दबाकर मार डालती है।
समीरा की चीख सुनकर जब उस्मान और डॉक्टर उस रूम में पहुँचते हैं तो उस लड़की को फांसी पर लटका हुआ पाते हैं।
इस पर समीरा रोते हुए कहती है कि उसे घर यहां नहीं रहना है उसे घर जाना है।
उस्मान, समीरा को अपने घर ले जाता है।
समीरा, नाश्ते के दौरान उस्मान के भाई अली और उस्मान की बच्ची गुड्डी से मिलती है।
समीरा की नजर गुड्डी पर थी।
गुड्डी समीरा को अपना रूम दिखाने ले जाती है। तभी गुड्डी की नजर रूम में लगे एक सीसे पर जाती है। सीसे में समीरा का असली रूप दिख रहा था। जिसे देख गुड्डी डर जाती है और बहाने बनाकर वहां से चली जाती है।
तभी समीरा सोचती है कि कल अमावस की रात है। कल में आखिरी बलि गुड्डी की चढ़ाउंगी। जिससे मैं हमेशा जवान रहूंगी।
उसी रात,
अली रात को जब अपने कमरे से पानी पीने निकला तो उसे खून के पैरो के निशान दिखे, जो समीरा के कमरे की तरफ जा रहे थे।
अली जैसे ही उन निशानों की ओर बढ़ा।
तभी उसके कंधे पर कोई हाथ रखता है। जिससे अली डर जाता है।
पीछे उस्मान था।
अली उससे कहता है कि भाई देखो खून के निशान जो समीरा के कमरे की ओर जा रहे हैं।
जब उस्मान देखता है तो वहां कुछ नहीं था। उस्मान को लगा कि अली समीरा से बात करने का बहाना ढूंढ रहा है।
उस्मान अली से कहता है कि समीरा बिल्कुल ठीक है अब तुम जाओ सो जाओ।
अली जब अपने कमरे में बापस जाता है तो पीछे से समीरा उसके कंधे पर हाथ रख देती है।
जिससे अली चौंक जाता है और कहता है कौन है?
समीरा को देख कर अली पूछता है कि आप कैसी हो और आप इतनी रात को मेरे कमरे में क्या कर रही हो।
समीरा कहती है कि रात को उसे अकेले डर लगता है।
अली कहता है कि भाई बोल रहे थे कि आप मेहमान हो, घर का हिस्सा हो।
आ जाओ मेरे पास और बना लो मुझे भी अपने घर का हिस्सा। इतना कहते हुए समीरा अली को गले से लगा लेती है और फिर वह अपने असली रूप में आ जाती है।
सीन सिफ्ट हो जाता है और हम अगली सुबह को देखते हैं।
सुबह सभी नाश्ता कर रहे थे।
जब अली वहां नहीं आया तो उस्मान उसके कमरे में उसे बुलाने के लिए जाता है।
तब उस्मान देखता है कि अली को लकवा मार चुका था। वह डर से कांप रहा था। लेकिन वह कुछ बोल नहीं पा रहा था।
तभी उस कमरे में उस्मान की बीबी रुकसार, गुड्डी और समीरा पहुंच जाते हैं।
समीरा को देख कर अली उसकी तरफ उँगली से इशारा करता है लेकिन कुछ कह नहीं पाया। अली को समीरा का असली रूप दिख रहा था।
उस्मान अली को हॉस्पिटल में भर्ती कर देता है।
डायन गुड्डी को धमकी देती है अगर उसने किसी को भी उसके बारे में कुछ भी बताया तो वो सबको मार डालेगी।
उस्मान, रुकसार से कहता है कि जब से समीरा घर आई है तब से कुछ भी सही नहीं हो रहा है। रात को अली ने पैरों के खून वाले निशान देखे थे और सुबह वह बीमार हो गया। गुड्डी भी समीरा से डरी रहती है।
शाम को जब उस्मान घर बापस आता है तो ग़लती से समीरा को रुकसार समझ बैठा। क्योंकि समीरा रुकसार के कपड़े पहने हुए थे।
उस्मान उससे माफी मांगता है तो समीरा कहती है आपने कहा था कि मैं भी आपके घर का हिस्सा हूं तो आप भी मेरे हुए न।
इतना कह कर समीरा उस्मान के चेहरे पर अपनी उँगलियाँ फेरती है।
तभी समीरा उस्मान के हाथ को सूँघती है और कहती है
क्या आप किसी आदमी से मिलकर आए हो, जो नहीं चाहता कि मैं आपके साथ रहूँ।
उस्मान इस बात की मना कर देता है।
तभी समीरा, उस्मान को उस पीर बाबा का खून से सना कटा हुआ सिर दिखाती है। जिससे उस्मान डर जाता है।
असल में उस्मान उस पीर बाबा से मिलकर आया था। उसी ने कहा था कि उस्मान के घर में डायन का साया है।
वह उस डायन से छुटकारा पाने के लिए एक ताबीज भी देता है।
लेकिन डायन कंट्रोल से बाहर हो गई थी।
तभी वहां रुकसार आ जाती है जो समीरा को उस्मान के चेहरे पर उंगली फेरते हुए देख लेती है।
रुकसार गुस्से में समीरा को थप्पड़ मारती है और कहती है निकल जाओ मेरे घर से…
तब समीरा डायन के रूप में आ जाती है और कहती है
मैं जिस घर में एक बार घुस जाती हूँ तो फिर कोई भी मुझे नहीं निकाल सकता।
डायन को देख उस्मान और रुकसार डर कर एक कमरे में छिप जातें हैं। वह डायन गेट को पटक पटक के वहां से चली जाती है।
तभी रुकसार कहती है अब क्या करें और गुड्डी भी बाहर है।
उस्मान कहता है कि उस डायन को तभी रोका जा सकता है। जब बाबा का दिया हुआ ताबीज कैसे भी करके उस डायन को बांधना होगा। जिससे वो कमजोर पड़ जाएगी।
लेकिन ताबीज कमरे के बाहर था। उस्मान और रुकसार दोनों ताबीज लेने के लिए जैसे ही कमरे के बाहर जाते हैं तभी वह डायन वहां आ जाती है और उस्मान और रुकसार को हमला करके घायल कर देती है।
और वह डायन गुड्डी को उठा लेती है और उस्मान और रुकसार को बीच में न पड़ने की धमकी देती है।
डायन गुड्डी को उठाकर तहखाने में बलि देने के लिए ले जाती है और शैतान से कहती है कि मेरी आखिरी बलि स्वीकार करो।
डायन गुड्डी को मारने लगती है।
तभी वहां उस्मान और रुकसार पहुंच जाते हैं।
दोनों डायन के बनाए हुए यंत्र में प्रवेश नहीं कर पा रहे थे।
ताबीज पहनाने के लिए डायन को यंत्र से बाहर लाना जरूरी था।
तभी गुड्डी रुकसार के कहने पर डायन की आंखों में वहां पड़े सिंदूर को झोंक देती है।
और खुद यंत्र के बाहर आ जाती है।
डायन जैसे ही गुड्डी को पकड़ने के लिए यंत्र से बाहर आती है वैसे ही उस्मान, रुकसार और गुड्डी तीनों मिलकर उस डायन के पैर में उस ताबीज को बांध देते हैं।
जिससे वह डायन छटपटाने लगती है और कुछ ही देर में वह जलकर मर जाती है।
……………
नरबलि (डरावनी कहानी)
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